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08 अक्तूबर 2018

ब्लॉग क्या है? इसके कितने प्रकार है?

ब्लॉग क्या है?
ब्लॉग क्या है?

नमस्कार मित्रों, आज बात करते हैं ब्लॉग के बारे में, इस आलेख में जानेंगे की ब्लॉग क्या है? ब्लॉग किसे कहते हैं? और ब्लॉग के कितने प्रकार होते हैं?

एक ब्लॉग, जानकारी या चर्चा हेतु तेयार की गयी वेबसाइट है जो की डिस्क्रिट प्रविष्ठियां (अलग-अलग), जिन्हें पोस्ट भी कहा जाता है, से मिलकर बनी होती है तथा जो आमतौर पर रिवर्स क्रानिकल यानि जो पोस्ट हाल ही में की गई है वो पोस्ट सबसे ऊपर के रूप में दिखाई जाती है।

सन 2009 तक ब्लॉगस आमतौर पर एक ही व्यक्ति का काम होता था, कभी कभार इसे एक समूह वाले, एक ही विषय पर वार्तालाप करने के लिए उपयोग में लेते थे, अभी हाल ही में बहुत से बहु लेखक ब्लॉग (मल्टी ऑथर ब्लॉग) विकसित हुए हैं। जिनमे बहुत से लेखकों द्वारा पोस्ट लिखी जाती है तथा पेशेवरों द्वारा संपादित की जाती है।

समाचार पत्रों के पेशेवर, अन्य मिडिया के आउटलेट्स, विश्वविद्यालयों के विचारक समूह, वकालत समूह इत्यादि की उपस्थिति तथा योगदान की वजह से ब्लॉग ट्रैफिक लगातार बढ़ रहा है। ट्विटर एवं अन्य माईक्रोब्लोगिंग सिस्टम ब्लॉगस को संगठित कर नयी धारणाओं में एकीकृत करने में मदद करते हैं।

अधिकांश ब्लॉग इंटरेक्टिव होते हैं जो आगुन्तकों को अपने विचार संदेश ब्लॉग से जीयुआई(GUI) के माध्यम से छोड़ने की अनुमति देते हैं। यही अंतर क्रियाशीलता (इंटरेक्टिव) ब्लॉग को दुसरी स्टेटिक (स्थिर) वेबसाइटों से अलग पहचान दिलाता है।

कई ब्लॉग एक विशेष विषय पर कमेंट्री पेश करते हैं। कुछ ब्लॉग ऑनलाइन डायरी की तरह कार्य करते हैं, तो कुछ ब्लॉग किसी विशेष व्यक्ति या संगठन के ब्रांड व विज्ञापन की तरह कार्य करते हैं। एक टिपिकल ब्लॉग में अक्षर, चित्र एवं दुसरे ब्लॉग से जुड़ने की व्यवस्था एवं अन्य विषय पर आधारित मिडिया को जोड़ने का कार्य करते हैं।

ब्लॉग के प्रकार :

ब्लॉग कई प्रकार के होते हैं, उनके प्रकार केवल उनकी सामग्री (कंटेंट) के आधार पर नहीं बल्कि उन्हें किस प्रकार प्रस्तुत किया जाना है या लिखा जाना है, पर भी निर्भर करते हैं।

ब्लॉगस के विभिन्न प्रकार को नीचे वर्गीकृत किया गया हैं:

1. व्यक्तिगत ब्लॉग (Personal Blog) : इस प्रकार के ब्लॉग में एक व्यक्ति की व्यक्तिगत चालू डायरी या कमेंट्री होती है, अधिकतर लोग ऑनलाइन डायरी लिखने के शौक़ीन होते हैं वो इसी प्रकार में आता है।

2. सहयोगात्मक ब्लॉग अथवा ग्रुप ब्लॉग (Collaborative Blog Or Group Blog) : यह वह ब्लॉग है जिसमें पोस्ट एक या एक से अधिक लेखकों द्वरा प्रकाशित होती है। ज्यादातर हाई-प्रोफाइल सहयोगात्मक ब्लॉग एक थीम के चारों और आधारित होती हैं जैसे की राजनीती, बॉलीवुड  या नयी तकनीक इत्यादि।

3. माइक्रोब्लोगिंग (Micro Blogging) : माइक्रोब्लोगिंग डिजिटल जानकारियों को छोटे-छोटे हिस्सों में प्रदर्शित करने का तरीका है जो पाठ, चित्र, लिंक एवं अन्य मिडिया के रूप में जो इंटरनेट पर उपलब्ध है। माइक्रो ब्लोगिंग एक पोर्टेबल संचार व्यवस्था है जिसे कई लोगों ने जैविक और सहज महसूस कर सार्वजनिक कल्पना का दर्जा हासिल करा लिया है जैसे ट्विटर और फेसबुक

4. कॉर्पोरेट ब्लॉग (Corporate Blog) : एक ब्लॉग प्राइवेट या बिजनस कार्य के लिए भी बनाया जा सकता है। बिजनस में आपसी संवाद बढ़ाने या फिर मार्केटिंग, ब्रांडिंग, और पब्लिक रिलेशन को बेहतर करने के काम आता है।

5. अग्रीग्रेटेड ब्लॉग (Aggregated Blog) : इस तरह के ब्लॉग में ऑर्गेनाइजेशन या व्यक्तिगत तौर पर कुछ लोग एक विषय पर जानकारी एकत्रित करके पाठकों को संयुक्त जानकारी उपलब्ध करवा सकते हैं। इससे पाठक अपने मनपसन्द विषय को पढने में समय लगा सकता है, न की व्यर्थ की जानकारी को जुटाने में।  हिंदी अग्रीग्रेटेड ब्लॉग उदाहरण : हमारीवाणी, ब्लोग्वार्ता, ब्लोग्सेतुचर्चामंच आदि।

6. Genre ब्लॉग : इस श्रेणी में वह ब्लॉग आते हैं जो किसी टॉपिक पर केन्द्रित होते हैं जैसे - राजनेतिक, स्वास्थ्य, फैशन, किताबें, तकनीक, आदि। आजकल कैसे करें? आदि के ब्लॉगस काफी प्रचलित हो रहे हैं। जिसमे दो आम प्रकार के ब्लॉग है - आर्ट ब्लॉग एवं म्यूजिक ब्लॉग।

7. मिडिया टाइप पर आधारित ब्लॉग : इस प्रकार के ब्लॉग में जिस ब्लॉग में विडिओ होते है उस ब्लॉग को व्लॉग (Vlog) कहते हैं, लिंक्स वाले ब्लॉग को लिंक्लोग (Linklog) कहते है। जिस ब्लॉग पर स्केच होते हैं उसे स्केचब्लॉग और जिसमे चित्र होते हैं उसे फोटोब्लॉग कहते हैं।

8. डिवाइस टाइप पर आधारित ब्लॉग : इस प्रकार के ब्लॉग का प्रकार लिखे गये उपकरणों के आधार पर किया जाता है। जैसे PDA अथवा मोबाइल से लिखे गये ब्लॉग को मोब्लॉग कहते हैं।

तो मित्रों ये थे ब्लॉग के प्रकार, अगर आप भी अपना ब्लॉग बनाना चाहते है तो सबसे पहले सही श्रेणी इस्तेमाल करें ताकि आपके ब्लॉग के टैरिफ पर प्रभाव ना पड़ें या यूँ कहें की गूगल आपके ब्लॉग को अनदेखा ना करें।

फ्री में आप ब्लॉग बना सकते है इंटरनेट पर तीन सबसे चर्चित फ्री सेवा है वर्डप्रेस, ब्लागस्पाट (जो की गूगल की सेवा है) और टम्बलर, आप अपने पसंद के हिसाब से इन पर अपना ब्लॉग बना सकते हैं।

अगर आपको ये ब्लॉग पसंद आ रहा है तो अभी इसके सदस्य बने पोस्ट शेयर करें और फेसबुक पर ताजा अपडेट पाने के लिए ब्लॉग का फेसबुक फेन पेज लाइक करें, धन्यवाद।

21 फ़रवरी 2014

क्लाउड कम्यूटिंग


 क्लाउड कम्यूटिंग
 क्लाउड कम्यूटिंग
मित्रों आजकल कंप्यूटर के क्षेत्र में 'क्लाउड कम्यूटिंग' का प्रयोग अत्यधिक सुनने में आता है। 'क्लाउड कम्प्यूटिंग' वास्तव में इन्टरनेट आधारित और कम्प्युटर एप्लीकेशन का प्रयोग है। 'गूगल एप्स' इसका एक उदाहरण है जो कई प्रकार की सेवाएं अर्थात बिजनेस एप्लीकेशन ऑनलाइन उपलब्ध कराता है। इन्टरनेट का प्रयोग कर इस तक पहुंचा जा सकता है। इन्टरनेट पर सर्वरों में जानकारियां (अनुप्रयोग,वैबी पैजिस, प्रोग्राम इत्यादि सभी) सदा सर्वर के लिए भंडारित रहती है और ये उपयोक्ता के डेस्कटॉप, नोटबुक, गेमिंग कंसोल इत्यादि पर आवश्यकतानुसार इंटरनेट द्वारा अस्थायी रूप से प्रयुक्त की जाती है। सरल शब्दों में इन्टरनेट के माध्यम से कम्प्युटर से सबंधित सभी काम ऑनलाइन करने को ही क्लाउड कम्प्यूटिंग कहा जाता है अर्थात वैब सेवा प्रदान करने वालों के सर्वरों पर आप अपने सभी कार्य निपटा सकते हैं। आप वर्ड फ़ाइल, फोटो से लेकर वीडियो आदि अपना सारा डाटा इन सर्वरों में ही सेव कर सकते है। अब डाटा स्टोर करने के लिए हार्ड डिस्क या मैमोरी कार्ड की चिंता नहीं होगी।

इन्टरनेट वास्तव में विश्वभर के एक साथ जुड़े कम्प्यूटरों तथा सर्वरों का एक विशाल तन्त्र है जिनमें सम्पर्क स्थापित करने के लिए एक जैसी तकनीक का प्रयोग किया जाता है। कम्प्यूटरों तथा सर्वरों के इस जाल में प्रयोग होने वाली सारी जानकारी तथा इसकी विश्वभर में पहुँच को ही 'क्लाउड कम्प्यूटिंग' कहा जाने लगा।

वैब सर्च इंजिन हो या अन्य साईट, सभी क्लाउड कम्प्यूटिंग के माध्यम से ही यूजर तक पहुँचती है। क्लाउड कम्प्यूटिंग के माध्यम से ही विश्वभर की खबर कुछ ही समय में अद्यतन हो जाती है। जब आप इंटनेट पर कुछ भी सर्च करते है तो ये मांग भी क्लाउड कम्प्यूटिंग के माध्यम से हि पूरी होती है। सवाल सीधे सर्वरों पर पहुँचता है। ढेरों सर्वर आपस में जुड़े होने के कारण सूचनाओं का आदान-प्रदान पलों में हि हो जाता है। सरंक्षित डाटा में से उतर तलाश कर सबसे पहले सर्वर वेबसाईट का प्रारूप तेयार करते है और इन्हें एक पेज के रूप में फोर्मेट करते हैं तथा इस पेज को आपके पास भेज देते है। यह प्रक्रिया एक सेकेण्ड से भी कम समय में पूरी हो जाती है।

सोसल नेटवर्किंग साइट्स ट्विटर और फेसबुक इत्यादि भी क्लाउड कम्प्यूटिंग के आधार पर ही सेवा प्रदान करती है। फ़ाइल शेयरिंग से जुड़े कार्य भी क्लाउड कम्प्यूटिंग के अंतर्गत आते है।    
   
आज बस इतना ही अगली बार कुछ खास लेकर पेश होऊंगा धन्यवाद।   

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05 जून 2012

उभरती हिन्दी फोरम, (सागर जीएसएम)

आज जिक्र कर रहा हुँ हिन्दी की उभरती फोरम सागर जीएसएम का, यहाँ आप तकनीक, मनोरजंन और अन्य सेवाऔँ का मुफ्त मेँ लुफ्त उठा सकते हैं। इसका सदस्य बनने के लिए निम्न लिँक पर जायेँ।
http://sagargsm.com/forum.php

मैँ भी इस फोरम पर हुँ मेरा प्रोफाइल लिँक निचे दिया हुआ है।
http://sagargsm.com/member.php?u=479  ये आई डी टीच गुरु नाम से है।
 मैँ आपका यहाँ इँतजार कर रहा हुँ।
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